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Anup (Private)     06 August 2017

PIL for respective qualifications for appointment of ministers

Following post on Social media put me thinking, as to how can these anomalies be obviated!
Such practices are certainly impeding national growth, in addition to colossal wastage of tax-payers' money.
Views solicited about filing a PIL for setting the system right, especially when the parliamentarians are adamant about changing /stopping the "Collegium Practice" for appointment of Judges in the High Courts, and Supreme Court.
While some of the points in forwarded post might be too fantastic to be lawfully tenable, salient points from these do merit our serious mulling and appropriate action.
Comments solicited, please.
"*U.P.सरकार ने फरमान जारी किया है कि 50 साल से ज्यादा के कर्मचारियों को कार्य कुशलता की समीक्षा के आधार पर जबरन रिटायर किया जाएगा। इसलिए आओ सब भारत वासी आज प्रण करें कि पंचायत से लेकर पार्लियामेंट तक ऐसे किसी नेता को वोट देकर नहीं चुनेंगे, जो 50 वर्ष से अधिक हो! ताकि देश की कार्य कुशलता प्रभावित न हो और मेरा भारत और महान बन सके और निम्नलिखित अनुसार यह कानून अनिवार्य रूप से सभी पर लागू हों 🙏👇*

*1-* नेताओं को भी पचास साल की उम्र में रिटायर कर दिया जाय ?
*2-* क्यों नहीं नेताओं को भी पुरानी पेंशन से वंचित किया जाय ?
*3-* क्यों नहीं नेताओं को विधानसभा सदस्य बनने के लिए स्नातक व लोकसभा सदस्य बनने के लिए परास्नातक होना अनिवार्य किया जाय ?
*4-* क्यों नहीं कानून मंत्री बनने के लिए LAW की डिग्री अनिवार्य हो, स्वास्थ्य मंत्री बनने के लिये MBBS की डिग्री अनिवार्य हो, समाज कल्याण के लिए समाजशास्त्र की डिग्री अनिवार्य हो, मानव संसाधन के लिए M.Ed. की डिग्री अनिवार्य हो, वित्त मंत्री को अर्थशास्त्री होना अनिवार्य हो इसी प्रकार सभी मंत्रीयों की योग्यता का मानक निर्धारित किया जाय ।
*5-* क्यों नहीं फ्री का डीजल, पेट्रोल, फोन की सुविधा, हवाई सुविधा, रेल सुविधा सहित तमाम सुविधाओं में जिसमें प्रतिवर्ष अरबों रूपये खर्च होता हैं उसमें कटौती की जाय ।
*6-* क्यों नहीं सभी नेताओं के खाते सार्वजनिक किये जाय ।
*7-* क्यों नहीं नेताओं की पुरानी पेंशन,मोटी तनख्वाह,सब्सिडी द्वारा भोजन बंद किया जाय जिसपर सरकार प्रतिवर्ष अरबों रूपये पानी की तरह खर्च करती हैं ।
*8-* क्यों नहीं नेताओं के पद से हटने के बाद फ्री मेडिकल सुविधा बंद किया जाय जिस पर देश का करोड़ों रूपये नुकसान होता हैं ।
*9-* क्या 50 साल का कर्मचारी बूढ़ा और 50 साल का नेता जवान होता हैं ? यह कौन सा मानक हैं ? नेताओं के पास क्या राहु व केतु वाला अमृत कलश हैं क्या ? जिससें यह पचास की उम्र में युवा नेता हो जाते हैं ?
*देश को कितना गर्त में आप नेताजी लोग ले जायेंगे?* जब स्वयं की तनख्वाह लाखों में करते हैं तो सभी पार्टियों के कोई भी नेता विरोध नहीं करता सभी मिलकर मेज थपथपा देते हैं । क्या देश पर आप की तनख्वाह की बेतहाशा वृद्धि से अरबों रूपये का भार नहीं पडता ? गजब की सोच हैं आप नेताओं की जब कर्मचारियों, अधिकारियों, शिक्षकों को पचास वर्ष में हटाने पर विचार किया जा सकता तो यह उपरोक्त बिन्दुओं पर विचार क्यों नहीं किया जा सकता है!! "
LT COL A K SAXENA, Advocate, Lucknow.


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 1 Replies

Anup (Private)     06 August 2017

Sorry, this hasn't been forwarded properly.
Shall send it over as a file attachment again.

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